By Santosh Salve
March 9, 2022
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आमतौर पर पाकिस्तानी लोगों का जीवन काल लगभग 67 साल का है; मगर हुंजा समुदाय के लोग लगभग 120 साल जीते हैं. आखिर क्या है इनका राज? आइए जानने की कोशिश करें!
हुंजा लोगों को 'बुरुशो' कहते हैं. इनकी भाषा को 'बुरुशास्की' कहते हैं. गिलगित बाल्टिस्तान की पहाड़ी वाले ये लोग मुख्यतः मुस्लिम धर्म का पालन करते हैं.
कहा जाता है कि इन लोगों के पूर्वज अलेक्जेंडर द ग्रेट की सेना के लोग थे, माना जाता है जो यहां पर चौथी शताब्दी में आए थे.
यहां के लोग शारीरिक तौर पर बड़े मजबूत होते हैं. कइयों का मानना है कि यहां की महिलाएं लगभग 60 से 90 साल की उम्र तक गर्भवती हो पाती है!
अपने दिन क्रम में यह लोग सुबह 5:00 बजे उठते हैं. ज्यादातर यह लोग पैदल ही घूमते हैं. कहते हैं कि ये लोग दिन में सिर्फ दो बार ही अपना भोजन करते हैं.
खाने में ये लोग पूरी तरह प्राकृतिक फल, दूध, मक्खन जैसी चीजें खाते हैं. साथ ही खासकर ये लोग बाजरा, जौ और गेहूं खाते हैं.
हुंजा लोग किसी खास मौके पर ही मांस खाते हैं. इस तरह की सबसे हटके लाइफस्टाइल होने की वजह से ही इन्हें कैंसर जैसी बीमारी भी नहीं होती!
हुंजा घाटी की आबादी लगभग 87 हजार है. पाकिस्तानी लोगों से यहां के लोग ज्यादा पढ़े लिखे पाए जाते हैं. यहां पर घूमने जाने वाले लोगों से ही इनके बारे में ज्यादा जानकारी मिल पाई है.
दुनिया भर के लोगों का हुंजा घाटी यह पसंदीदा घूमने लायक स्थान है. कई लोग यहां की पहाड़ियों की खूबसूरती और इन लोगों की जीवनशैली देखने के लिए आते हैं.
हुंजा घाटी के लोगों पर कई किताबें भी छपी है. और साथ ही हॉलीवुड की फिल्मों में भी इनका जिक्र हुआ है.
गिलगित बालटिस्तान की पहाड़ी में स्थित हुंजा घाटी के, लगभग 60 साल तक जवान ही रहने वाले, लोगों को देखने के लिए आप भी एक बार जरूर हुंजा घाटी जाएं. और इनके जीवन का सीक्रेट जान लें!
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