By Malvika Kashyap
April 22, 2022
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चिंगम के गम बेस में रेजिन, मोम एवं इलास्टोमेर होता है. रेजिन इसे चबाने योग्य बनाता है. मोम गोंद को नरम करता है. इलास्टोमेर लचीलापन लाता है.
चिंगम खाने से कुछ देर के लिए भूख शांत रह सकती है. इससे आप कम कैलरी लेते हैं. इस तरह आप कम खाते हुए वजन नियंत्रित कर सकते हैं.
चिंगम चबाने से हमारे मुंह में ज्यादा सलाइवा बनता है. यह भोजन को पचाने में मददगार साबित होता है. साथ ही हमारे पाचन शक्ति में भी सुधार लाता है.
चिंगम से बनने वाला सलाइवा दांतों की सड़न एवं कैविटी से बचा सकता है. साथ ही दांत पर लगे पीले दाग भी साफ हो सकते हैं. इसलिए आप शुगर फ्री चिंगम खा सकते हैं.
चिंगम चबाने से गर्दन के पास दिखने वाला मोटापा यानी की डबल चीन भी कम कर सकता है. इससे हमारे जबड़े की अच्छी एक्सरसाइज हो सकती है.
चिंगम चबाने से हमारे दिमाग का हिप्पोकेंपस वाला भाग सक्रिय हो सकता है. इससे हमारी याददाश्त बढ़ने में मदद हो सकती है.
चिंगम खाने से हमारे मस्तिष्क को अधिक ऑक्सीजन मिल सकता है. साथ ही चिंगम खाने से मन का तनाव भी दूर हो सकता है. इससे मूड भी अच्छा हो सकता है.
यदि आपको बदहजमी की वजह से मतली आ रही है, तो चिंगम खाने से आपको फायदा मिल सकता है. साथ ही यह हमारे दिमाग को अलर्ट भी रख सकता है.
चिंगम खाने से होने वाले फायदे केवल जानकारी के तौर पर बताए गए हैं. इसे खाने से पहले अपने फिटनेस ट्रेनर या डॉक्टर से जरूर बात करें. क्योंकि इसे खाने से नुकसान भी हो सकते हैं.
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